कमरौली, अमेठी। अब यह प्रदर्शन महानगरों तक नही सीमित रहा अब गांव-गांव कूचे-कूचे में प्रर्दशन हो रहा है। ऐसी ही एक खबर अमेठी जिले से आई है, जहां पर विकासखंड जगदीशपुर अन्तर्गत ककरहिया गांव में शशि कांत के नेतृत्व में हुआ जिसमे करीब 300 से भी अधिक ग्रामीण महिलाएं एकजुट हुई हैं। वो विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं और बंगाल राज्य सरकार से सेंट्रल प्रोटेक्शन एक्ट की मांग कर रहे हैं। उनका कहना है कि अस्पताल को सेफ जोन बनाया जाना चाहिए। इसी के साथ उनका ये भी कहना है कि सरकार कुंभकरण की नींद सो रही है। जिसका खामियाजा आम लोगों को भुगतना पड़ रहा है। प्रदर्शन कर रही महिलाओं का कहना है कि वो भारी मन से ये विरोध प्रदर्शन करने को मजबूर हैं। 31 वर्षीय स्नातकोत्तर प्रशिक्षु डॉक्टर की 9 अगस्त को सरकार द्वारा संचालित आरजी कर मेडिकल कॉलेज और अस्पताल के सेमिनार हॉल में बेरहमी से हत्या कर दी गई थी। इस घटना ने कई गंभीर खामियों और संबंधित अधिकारियों के समर्थन की कमी को उजागर किया और इस मुद्दे ने विरोध प्रदर्शन के लिए एक ट्रिगर के रूप में काम किया। स्थानीय पुलिस द्वारा कोई महत्वपूर्ण प्रगति नहीं होने पर बड़े पैमाने पर गुस्से के बाद कलकत्ता हाई कोर्ट ने मामले को सीबीआई को स्थानांतरित कर दिया। इस विरोध प्रदर्शन में रूपेंद्र यादव, फूलचंद मौर्य, परवेश कुमार, प्रेम सिंह, दिनेश मास्टर, हंसराज यादव, नदीम खान सहित भारी संख्या में ग्रामवासी मौजूद रहे।
कैमरा मैन सुनील कुमार के साथ शशि यादव की रिपोर्ट